Saturday, July 20, 2019

804. पढ़ा-पढ़ाकर थक गए (कुंडलिया)

804. पढ़ा-पढ़ाकर थक गए (कुंडलिया)

पढ़ा-पढ़ाकर  थक गए, नीत नियम के पाठ।
उसने  है  सीखा  फकत, सोलह  दूनी आठ।
सोलह  दूनी  आठ, तीन  को  पाँच  बताता।
कैसे    बोलें    झूठ,  उसे   बाखूबी   आता।
अर्धसत्य  आँकड़े,  गिनाता   बढ़ा-चढ़ाकर।
मरने  वाले  मरे,  सत्य   को   पढ़ा-पढ़ाकर।

रणवीर सिंह 'अनुपम'
20.07.2019
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