487. करोड़ों देवता मिलकर (मुक्तक)
करोड़ों देवता मिलकर हमारा दुख न हर पाये।
हजारों मर गये घीसू न जर पाये न तर पाये।
कई मौकों पे' सोचा था चलो अब छोड़ दें दुनिया।
कफन की फिक्र के कारण न जी पाये न मर पाये।
रणवीर सिंह 'अनुपम'
14.01.2018
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